NewsShot.in | November 20, 2025: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को ऐतिहासिक Epstein Files Transparency Act पर हस्ताक्षर कर दिए, जिसके बाद न्याय विभाग को निर्देश दिया गया है कि वह जेफ़्री एप्सटीन से जुड़ी सभी फाइलें 30 दिनों के भीतर सार्वजनिक करे। यह कदम उस समय आया है जब इन दस्तावेज़ों को सार्वजनिक करने को लेकर वैश्विक दबाव लगातार बढ़ रहा था।
यह विधेयक अमेरिकी प्रतिनिधि सभा में 427–1 के भारी बहुमत से पास हुआ और उसके तुरंत बाद सीनेट ने भी इसे मंजूरी दे दी । ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट करके घोषणा की: “मैंने Epstein Files को रिलीज़ करने वाले बिल पर साइन कर दिया है!”
ट्रंप ने अपने बयान में कई हाई-प्रोफाइल डेमोक्रेट नेताओं—जैसे बिल क्लिंटन, लैरी समर्स, रीड हॉफ़मैन, हकीम जेफ्रीज़—पर एप्सटीन से करीबी संबंध रखने के आरोप दोहराए। उन्होंने कहा कि फाइलों के सार्वजनिक होने पर इन संबंधों के और विवरण सामने आ सकते हैं
Epstein Files में क्या शामिल होगा?
एप्सटीन फाइलों में कई संवेदनशील और महत्वपूर्ण दस्तावेज़ शामिल हैं, जैसे:
- निजी फ्लाइट लॉग्स,
- संपर्क सूची, ईमेल,
- गवाह बयान और पीड़ितों की गवाही,
- वैश्विक वित्तीय लेनदेन से जुड़े रिकॉर्ड,
- राजनीतिक, बिज़नेस और रॉयल नेटवर्क के संपर्क।
कई वर्षों से ये फाइलें या तो सील थीं या भारी मात्रा में रिडैक्टेड। अब नए क़ानून के तहत केवल उन्हीं हिस्सों को छिपाया जा सकेगा जो पीड़ितों की पहचान या चल रही जांच को प्रभावित कर सकते हैं ।
वैश्विक प्रभाव
एप्सटीन के नेटवर्क का असर अमेरिका से लेकर ब्रिटेन तक फैला रहा है, जहाँ प्रिंस एंड्रयू को सार्वजनिक दबाव के बाद अपने शाही कर्तव्यों से हटना पड़ा था। विशेषज्ञों का मानना है कि इन फाइलों का खुलासा अंतरराष्ट्रीय राजनीति, कानून प्रवर्तन और हाई-प्रोफाइल नेटवर्क पर बड़ा असर डाल सकता है ।
यह रिलीज़ पीड़ितों के लिए पारदर्शिता और न्याय की दिशा में ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है।